चंडीगढ़, 20 जून – केन्द्र सरकार द्वारा इस साल खरीफ फसलों की एमएसपी में मामूली वृद्धि किए जाने पर आम आदमी पार्टी ने कहा कि भाजपा किसान हितैषी होने का ड्रामा कर रही है। पार्टी ने कहा कि अगर भाजपा को सच में देश के किसानों की चिंता है तो वह किसानों की मांग के अनुसार एमएसपी गारंटी कानून बनाए।
वीरवार को पार्टी मुख्यालय चंडीगढ़ में एक प्रेस कांफ्रेंस को संबोधित करते हुए आप प्रवक्ता हरसुखिंदर सिंह बब्बी बादल ने कहा कि पिछले कई सालों में कृषि की लागत करीब 70 प्रतिशत बढ़ गई है और मोदी सरकार एमएसपी में मात्र 7 प्रतिशत की बढ़ोतरी कर खुद से अपनी पीठ थपथपा रही है।
उन्होंने कहा कि खुद मोदी सरकार के कैबिनेट मंत्री पीयूष गोयल ने कहा है कि 83 प्रतिशत फसलें एमएसपी से कम कीमतों पर बिकती है। मात्र 13 प्रतिशत फसल की ही एमएसपी पर खरीद की जाती है। कई राज्यों में तो फसलों की एमएसपी पर खरीद ही नहीं हो पाती। इसलिए एमएसपी पर यह वृद्धि ‘टू लिटिल और टू लेट’ है।
उन्होंने कहा कि किसानों को अभी आर्थिक संकट से निकालने के लिए एमएसपी पर मामूली वृद्धि की जरूरत नहीं है। देश का किसान तभी खुशहाल हो सकता है जब उसे स्वामीनाथन आयोग की रिपोर्ट के अनुसार ”C2 + 50%” के हिसाब से फसलों की कीमत अदा दी जाएगी। इसके अलावा फसल विविधीकरण के लिए किसानों को अलग से आर्थिक प्रोत्साहन दिया जाए।
उन्होंने कहा कि फसलों की कीमत और कृषि से संबंधित नीतियां किसान संगठनों के सुझाव द्वारा तैयार की जाए। जब सरकार इंडस्ट्री के लिए कोई पॉलिसी लाती है तो अंबानी-अडानी और अन्य उद्योगपतियों के साथ राय-मशविरा करती है, फिर कृषि पर कोई नीति बनाने से पहले किसानों के साथ चर्चा क्यों नहीं की जाती?