लुधियाना, 13 मई – प्रसिद्ध पंजाबी कवि एवं लेखक पद्मश्री डा. सुरजीत पातर का अंतिम संस्कार लुधियाना के मॉडल टाउन श्मशान घाट में किया गया। पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान ने उनके शव कंधा दिया। इस दौरान मुख्यमंत्री भगवंत मान काफी भावुक होते भी नजर आए। इससे पहले सुरजीत पातर को श्रद्धांजलि देने के लिए उनके आवास पर काफी लोग एकत्र हुए। इसमें मशहूर लेखक, कलाकार, नेता, विधायक, प्रोफेसर और मीडिया से जुड़े लोग शामिल थे.
पंजाब सरकार ने पंजाबी कवि और साहित्यकार सुरजीत पातर की याद में हर साल पातर पुरस्कार देने की भी घोषणा की है. यह पुरस्कार उभरते कवियों को दिया जाएगा। इस संबंध में पूरी योजना पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान ने तैयार की है। पातर पुरस्कार विजेता को हर साल 1 लाख रुपये का नकद पुरस्कार और एक स्मृति चिन्ह दिया जाएगा। यह पुरस्कार भाषा विभाग की अध्यक्षता में होगा।
आपको बता दें कि जालंधर के पटौद कलां गांव में जन्मे सुरजीत पातर ने साहित्य के क्षेत्र में महत्वपूर्ण उपलब्धियां हासिल की हैं। उन्होंने पंजाबी साहित्य अकादमी के अध्यक्ष के रूप में भी कार्य किया। पंजाब विश्वविद्यालय, पटियाला से मास्टर डिग्री पूरी करने के बाद, पातर ने गुरु नानक देव विश्वविद्यालय (अमृतसर) से पीएचडी की। इसके बाद उन्होंने पंजाब कृषि विश्वविद्यालय (लुधियाना) में पंजाबी के प्रोफेसर के रूप में योगदान दिया और वहीं से सेवानिवृत्त हुए। आपको बता दें कि सुरजीत पातर का दो दिन पहले निधन हो गया था लेकिन उनका बेटा विदेश में था। ऐसे में आज बेटे के आने के बाद अंतिम संस्कार किया गया.