चंडीगढ़, 22 अप्रैल:
पंजाब के बागवानी मंत्री श्री मोहिंदर भगत ने राज्य के फलों और सब्जियों को विदेशों में निर्यात करने और बागवानी के तहत क्षेत्रफल बढ़ाने और किसानों की आय में वृद्धि करने के उद्देश्य से अधिकारियों के साथ उच्च स्तरीय बैठक की अध्यक्षता की। यह बैठक मोहाली के पंजाब कृषि भवन में हुई। इस बैठक में सचिव बागवानी श्री मोहम्मद तय्यब, निदेशक बागवानी श्रीमती शैलेंद्र कौर और एयरपोर्ट अथॉरिटी ऑफ इंडिया, पंजाब मार्कफेड, पंजाब एग्री एक्सपोर्ट कॉरपोरेशन के अधिकारी उपस्थित थे।
बैठक के दौरान मंत्री श्री मोहिंदर भगत ने कहा कि मुख्यमंत्री भगवंत सिंह मान के नेतृत्व वाली पंजाब सरकार बागवानी के तहत क्षेत्रफल बढ़ाने और किसानों की आय में वृद्धि करने के लिए तेजी से काम कर रही है। उन्होंने कहा कि इसी उद्देश्य की पूर्ति के लिए पायलट प्रोजेक्ट के रूप में राज्य के 10 गांवों की 5-5 एकड़ पंचायती भूमि पर फलदार पौधे लगाए जाएंगे। उन्होंने कहा कि पंचायती जमीनों से होने वाली आय भी संबंधित गांवों की पंचायतों द्वारा गांवों के विकास पर खर्च की जाएगी। मंत्री द्वारा इस संबंध में कार्रवाई जल्दी करने के लिए अधिकारियों को निर्देश दिए गए।
मंत्री ने पंजाब के फलों और सब्जियों को निर्यात करने के महत्व पर जोर देते हुए कहा कि पंजाब के किन्नू, आम, लीची जैसे फलों और बैंगन और भिंडी जैसी सब्जियों की विदेशों में बहुत मांग है। बैठक के दौरान, श्री गुरु रामदास जी अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे, अमृतसर से बागवानी फसलों के निर्यात की सुविधा के लिए आवश्यक कदम उठाने के लिए कहा गया। इस मौके पर एयरपोर्ट अथॉरिटी, स्टेशन हेड आजाद सिंह द्वारा अपना पूरा समर्थन देने के लिए कहा गया।
श्री मोहिंदर भगत ने कहा कि पंजाब के प्रोसेस्ड बागवानी क्षेत्र में भी बहुत संभावनाएं हैं। अंतरराष्ट्रीय बाजारों में प्रवेश करके हम न केवल किसानों की आय बढ़ा सकते हैं बल्कि नए रोजगार के अवसर भी पैदा कर सकते हैं। उन्होंने कहा कि पंजाब राज्य की भौगोलिक स्थिति और वातावरण बागवानी के लिए बहुत उपयुक्त है और यहां हम उन चीजों की खेती कर सकते हैं जिनकी मांग यूरोप और अन्य देशों में बहुत ज्यादा है।
बैठक के दौरान अन्य लोगों के अलावा पंजाब मार्कफेड के चीफ मैनेजर जसविंदर सिंह, पंजाब एग्री एक्सपोर्ट कॉरपोरेशन लिमिटेड के सीईओ रणबीर सिंह, सुपरिंटेंडेंट इंजीनियर पंचायती राज संदीप सीधर, डिप्टी डायरेक्टर बागवानी गुरमेल सिंह, दलवीर सिंह विशेष रूप से उपस्थित थे।